पुरुषों को जायफल (nutmeg in Hindi) के बारे में शायद अधिक जानकारी ना हो, लेकिन महिलाएं जायफल के बारे में जरूर जानती होंगी। जायफल (Jaiphal) का इस्तेमाल अनेक अवसर पर किया जाता है। भारतीय घरों में कई तरह के मसालों का इस्तेमाल होता है। इन्हीं मसालों में से एक है जायफल। जायफल न सिर्फ खाने का स्वाद बढ़ाता है बल्कि कई तरह के औषधीय गुणों से भरपूर होता है। यही कारण है कि बच्चों को स्वास्थ्य समस्याओं से बचाने के लिए भी जायफल का इस्तेमाल सदियों (Nutmeg Health benefits) से किया जा रहा है।
आईएसकेडी मेडीफिट के इस लेख के माध्यम से आयुर्वेदाचार्य श्री ब्रह्मस्वरूप सिंह बताएँगे कि जायफल के सही इस्तेमाल से स्वास्थ्य को किस किस तरह से आपको फायदे मिल सकते हैं। यहां आप वैज्ञानिक प्रमाण सहीत जायफल के फायदे और नुकसान जान पाएंगे। साथ ही इस लेख में जायफल का उपयोग करने का तरीका भी बताया गया है। पाठक इस बात पर विशेष ध्यान दें कि जायफल लेख में शामिल किसी भी बीमारी का इलाज नहीं है। यह केवल समस्या से बचाव में कुछ हद तक मददगार साबित हो सकता है। आयुर्वेद में जायफल के फायदे (jaiphal benefits) से संबंधित बहुत सारी जानकारी दी गई है।
जायफल में स्वास्थ्य लाभ पाया जाता है, जिसमें दर्द को दूर करने, अपच को शांत करने, संज्ञानात्मक कार्य को मजबूत करने, शरीर को डिटॉक्सिफाई करने, त्वचा के स्वास्थ्य को बढ़ावा देने, मौखिक स्थितियों को कम करने, अनिद्रा को कम करने, प्रतिरक्षा प्रणाली के कार्य को बढ़ाने और ल्यूकेमिया को रोकने और रक्त परिसंचरण में सुधार करने की क्षमता शामिल है।
आईएसकेडी मेडीफिट के अनुसार, जायफल का प्रयोग शरीर के लिए बहुत ही फायदेमंद होता है। रोगी जायफल का इस्तेमाल कर अपनी बीमारी की रोकथाम कर सकता है। कई बीमारियों का उपचार कर सकता है। इसके अलावा बच्चों के लिए भी जायफल के अनेक फायदे (jaiphal benefits for baby) बताए गए हैं। आइए जायफल से होने वाले सभी लाभ के बारे में जानकारी लेते हैं।
जायफल क्या है? (What is Nutmeg in Hindi?)
जायफल दुनिया भर में अपने स्वाद के लिए इस्तेमाल किया जाने वाला एक लोकप्रिय मसाला है। यह जायफल के पेड़ (जिसका वैज्ञानिक नाम मिरिस्टिका फ्रेग्रेंस है) से मिलता है। जायफल के पेड़ से दो मसाले मिलते हैं जायफल और जावित्री। मिरिस्टिका के बीज को जायफल कहा जाता है। इस लेख में हम खासतौर पर जायफल के बारे में बता रहे हैं। एनसीबीआई (नेशनल सेंटर फॉर बायोटेक्नोलॉजी इनफार्मेशन) की वेबसाइट पर प्रकाशित एक शोध के अनुसार इस मसाले का उपयोग स्वास्थ्य लाभ के लिए हजारों वर्षों से किया जाता रहा है। यह कई पोषक तत्वों से समृद्ध होता है और इसमें एंटीइन्फ्लेमेटरी, एंटीमाइक्रोबियल और एंटीऑक्सीडेंट जैसे प्रभाव भी पाए जाते हैं।
जायफल (nutmeg in Hindi) एक जड़ी-बूटी है, जिसका प्रयोग मसाले के रूप में होता है। इसकी दो प्रजातियां होती हैं, जो ये हैंः-
- जायफल
- जंगली जायफल
जायफल का वृक्ष (nutmeg tree) हमेशा हरा रहने वाला और सुगन्धित होता है। वृक्ष के तने शयामले रंग के होते हैं, जिसमें बाहर छिद्र होता है। अन्दर लाल रंग के द्रव्य होते हैं। इसके पत्ते लम्बे और भालाकार होते हैं। इसके फूल (mace flower) छोटे-छोटे, सुगंधित और पीले-सफेद रंग के होते हैं। यह गोलाकार, अण्डाकार लाल और पीला रंग का होता है। फल पकने पर दो भागों में फट जाता है, जिसमें से जायफल निकलता है।
जायफल को चारों ओर से घेरे हुए लाल रंग का कड़ा मांसल कवच होता है, जिसे जावित्री‘ कहते हैं। यह सूखने पर अलग हो जाता है। इसी जावित्री के अन्दर जायफल होता है। यह अण्डाकार, गोल और बाहर से शमायला रंग का सिकुड़ा हुआ, और तीव्र गन्धयुक्त होता है।
जायफल के फायदे (Jaiphal Benefits and Uses in Hindi): जायफल (Jaiphal) के औषधीय प्रयोग का तरीका, मात्रा एवं विधियाां ये हैं-
स्टेमिना को बढ़ाने में मददगार:
जायफल एक प्रकार की देसी वियाग्रा की तरह काम करता है। जायफल पर हुई कई रिसर्च में ये बात सामने आई है कि पुरुष नियमित तौर पर इसका सेवन करने से उनके स्टेमिना में बढ़ोतरी होती है। इतना ही नहीं जायफल पुरुषों की फर्टिलिटी बढ़ाने में भी मदद कर सकता है।
सेक्सुअल पॉवर (पुरुषत्व या मर्दाना ताकत) बढ़ाने में जायफल के फायदे (Benefits of Nutmeg to Increase Sexual Power in Hindi)
कई लोगों को सेक्सुअल पॉवर की कमी होने की शिकायत रहती है। ऐसे लोग पुरुषत्व (मर्दाना ताकत) को बढ़ाने के लिए जायफल का इस्तेमाल कर सकते हैं। जायफल, अकरकरा, जायफल, जावित्री, इलायची, कस्तूरी और केसर को दूध में पका लें। इस दूध में मिश्री मिलाकर पिएं। इससे पौरुष शक्ति (पुरुषत्व) की वृद्धि होती है।
रोग-प्रतिरोधक क्षमता के लिए जायफल के फायदे (Benefits of nutmeg for immunity in Hindi)
किसी भी व्यक्ति के लिए उसकी रोग-प्रतिरोधक क्षमता का सही होना बहुत जरूरी है। अगर ऐसा नहीं होता है, तो व्यक्ति जल्द बीमार पड़ सकता है। ऐसे में जायफल का सेवन इम्यून पावर बढ़ाने में मददगार साबित हो सकता है। इससे जुड़े एक शोध के अनुसार, जायफल रोग-प्रतिरोधक क्षमता को मजबूत करने का काम कर सकता है। हालांकि, यह किस प्रकार यह काम करता है, इसे लेकर अभी और शोध की आवश्यकता है।
माइग्रेन (आधासीसी) में जायफल का उपयोग लाभदायक (Benefits of Jaifal in Migraine in Hindi)
जायफल के छिलके को वनफ्सा के तेल में पीस लें। इसे 1-2 बूंद नाक में डालने से आधासीसी (अधकपारी) के दर्द में आराम मिलता है।
सिर दर्द में जायफल के औषधीय गुण से लाभ (Uses of Jaifal in Relief from Headache in Hindi)
जायफल का उपयोग सिरदर्द में भी बहुत ही फायदेमद होता है। जायफल को पानी में घिसकर सिर पर लगाएं। इससे सिर दर्द ठीक होता है।
दिमाग के लिए जायफल खाने के फायदे (benefits of eating nutmeg for brain in Hindi)
सेहत और दांतों के साथ ही जायफल दिमाग के लिए भी फायदेमंद हो सकता है। इससे जुड़े एक शोध में केंद्रीय तंत्रिका तंत्र की क्रियाओं के लिए जायफल के उपयोग का जिक्र मिलता है। केंद्रीय तंत्रिका तंत्र, जिसमें मस्तिष्क और रीढ़ शामिल होते हैं। वहीं, इससे जुड़े एक अन्य शोध में पता चलता है कि जायफल का उपयोग याददाश्त और सीखने की क्षमता को बढ़ाने में मददगार हो सकता है। हालांकि, इस लाभ के पीछे जायफल के कौन से गुण लाभकारी हो सकते हैं, इसे लेकर अभी और शोध किए जाने की आवश्यकता है।
कान के रोग में जायफल के औधषीय गुण से फायदे (Ground Nutmeg Uses to Cure Ear Disease in Hindi)
- जायफल को पीसकर (Ground nutmeg) कान के पीछे लेप करने से कान का दर्द और सूजन ठीक होता है।
- जायफल को तेल में उबालकर छान लें। इसे 1-2 बूंद की मात्रा में कान में डालने से कान की बीमारी ठीक होती है।
कैंसर से बचाव में जायफल के लाभ (benefits of nutmeg in cancer prevention in Hindi):
जायफल का उपयोग कैंसर से बचाव में कुछ हद तक मददगार हो सकता है। इस विषय से जुड़े एक अध्ययन में पाया गया है कि जायफल में एंटीट्यूमर गुण पाए जाते हैं, जो कि कैंसर का कारण बनने वाले ट्यूमर के जोखिम को कम करने में मदद कर सकते हैं। इसके अलावा, एक अन्य शोध में पाया गया कि जायफल के तेल का उपयोग भी कैंसर से बचने के लिए किया जा सकता है। जायफल के तेल में एंटीकैंसर गुण पाए जाते हैं, जो कैंसर से बचाव में कुछ हद तक मददगार हो सकते हैं। यहां इस बात का ध्यान रखें कि जायफल कैंसर का उपचार नहीं है। अगर कोई इस बीमारी की चपेट में आ गया है, तो जल्द से जल्द डॉक्टरी इलाज करवाना जरूरी है।
बाल रोग में उपयोगी जायफल का सेवन (Jaiphal Benefits for Baby Problem in Hindi)
जायफल और मायाफल के बराबर-बराबर चूर्ण को धीमी आग पर भून लें। इसमें बारह भाग मिश्री मिला लें। इसे 1-2 ग्राम की मात्रा में प्रतिदिन सुबह दूध के साथ बच्चों को सेवन कराएं। इससे बच्चों के बल की वृद्धि होती है। बच्चों के रोगों ठीक होते हैं।
स्तनपान बंद (बच्चों को दूध पीना छुड़ाने) करने के लिए जायफल का प्रयोग (Jaiphal Benefits for Weaning Off in Baby in Hindi)
ऐसा प्रायः देखा जाता है कि माताएं जब छोटे बच्चों को दूध पीना छुड़ाना चाहती हैं तो बच्चे आसानी से दूध नहीं छोड़ते हैं। ऐसी स्थिति में जायफल आपके काम आ सकता है। बच्चों को दूध पीना छुड़ाने के लिए जायफल का प्रयोग करना चाहिए। यह लाभ देता है। उपयोग के बारे में किसी आयुर्वेदिक चिकित्सक से जरूर पूछ लें।
खांसी में जायफल के गुण से लाभ (Jaiphal Powder Uses in Fighting with Cough in Hindi)
खांसी का इलाज करने के लिए 500 मिग्रा जातिफलादि चूर्ण में मधु (शहद) मिलाकर सेवन करें। इससे खांसी, साँस का फूलना, भूख ना लगना, टीबी की बीमारी, और वात-कफ विकार के कारण होने वाली सर्दी-जुकाम में फायदा होता है।
अधिक प्यास लगने की परेशानी में जायफल का उपयोग फायदेमंंद (Jaiphal Benefits for Thirsty Problem in Hindi)
जायफल को रात भर ठंडे पानी में डूबो कर रखें। सुबह 5-10 मिली मात्रा में इस पानी को पिलाने से अत्यधिक प्यास लगने की समस्या ठीक होती है।
भूख बढ़ाने के लिए जायफल का प्रयोग (Ground Nutmeg Benefits for Appetite Problem in Hindi)
बराबर-बराबर भाग में कंकोल, देवदारू, दालचीनी, सेंधा नमक, बेल, मरिच, जायफल, जीरक-द्वय और जावित्री लें। इनका बारीक चूर्ण (mace powder) कर लें। इसमें मातुलुंग नींबू का रस मिलाकर 250 मिग्रा की गोलियाँ बना लें। इसका सेवन करने से अरुचि (भूख का बढ़ना) और दस्त की परेशानी ठीक होती है। जायफल को पानी में घिसकर पिलाने से जी मिचलाना ठीक होता है।
मुंह के छाले की समस्या में जायफल का उपयोग (Ground Nutmeg Benefits to Treat Mouth Ulcers in Hindi)
मुंह के छाले को ठीक करने के लिए ताजे जायफल के रस को पानी में मिलाकर कुल्ला करें। इससे मुंह के छाले ठीक हो जाते हैं।
मधुमेह में जायफल के गुण (benefits of nutmeg in diabetes in Hindi)
मधुमेह के लिए भी जायफल का उपयोग किया जा सकता है। एनसीबीआई की वेबसाइट पर प्रकाशित एक शोध में पाया गया है कि जायफल के अर्क में एंटीडायबिटिक गुण पाए जाते हैं। यह गुण रक्त में मौजूद ग्लूकोज के स्तर को बढ़ने से रोकने में मदद कर सकते हैं। इसलिए, कहा जा सकता है कि मधुमेह की समस्या में जायफल का उपयोग लाभदायक हो सकता है।
जायफल के सेवन से शरीर में ब्लड सर्कुलेशन बेहतर होता है, जिससे पुरुषों में होने वाली इरेक्शन की परेशानी को कम किया जा सकता है। यह पुरुषों के शरीर में ब्लड सर्कुलेशन बेहतर करता है, जिससे इरेक्शन को कम करने में मदद मिल सकती है।
चेहरे के दाग-धब्बों (झाईयां) में जायफल के फायदे (Jaiphal Benefits to Treat Skin Scars in Hindi)
जायफल को पीसकर (Ground nutmeg) शहद मिला लें। इसे चेहरे पर लगाने से चेहरे के दाग और धब्बे मिटते हैं।
जावित्री और जायफल के बारीक चूर्ण को पानी में घोलकर लेप करने से चेहरे की झाईयाँ मिट जाती हैं।
मुंहासों की समस्या से निजात दिलाने में भी जायफल का उपयोग लाभकारी हो सकता है। दरअसल, जायफल में एंटीबैक्टीरियल और एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण मौजूद होते हैं। इसमें मौजूद एंटीबैक्टीरियल गुण बैक्टीरिया की वजह से होने वाले मुंहासों से लड़ने का काम कर सकते हैं और एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण मुंहासों की सूजन को कम करने में मदद कर सकते हैं। हालांकि, ये सीधे तौर पर मुंहासों पर कितना प्रभावकारी हो सकता है, इसे लेकर अभी और शोध किए जाने की आवश्यकता है।
बिवाई (हाथ-पैर की त्वचा के फटने) में जायफल से लाभ (Jaiphal Benefits for Cracked Heal in Hindi)
प्रायः सर्दी के मौसम में हाथों और पैरों की त्वचा फट जाया करती है। इसमें जायफल को जल में घिसकर पैरों में लेप करें। इससे बिवाइयां ठीक हो जाती हैं।
त्वचा रोग में जायफल से लाभ (Jaiphal Benefits for Skin Disease in Hindi)
जायफल के तेल की मालिश करने से त्वचा संबंधित रोग दूर होता है। आप बेहतर परिणाम के लिए किसी आयुर्वेदिक चिकित्सक से जायफल के उपयोग की जानकारी ले सकते हैं।
मुंह से बदबू आने पर जायफल से लाभ (Ground Nutmeg Benefits to Cure Mouth Smell in Hindi)
बराबर-बराबर भाग में कूठ, कमल, जावित्री और जायफल के चूर्ण लें। इसकी 500 मिग्रा की गोली बनाकर चूसें। इससे मुंह से दुर्गंध आने की परेशानी ठीक हो जाती है।
अवसाद और चिंता दूर करने में जायफल के लाभ (Benefits of nutmeg in relieving depression and anxiety in Hindi )
जायफल अवसाद और चिंता की स्थिति में भी फायदेमंद हो सकता है। जानवरों के ऊपर किए गए शोध में पाया गया कि जायफल के जलीय अर्क में एनजियोलिटिक (anxiolytic) गुण पाए जाते हैं, जो चिंता को दूर करने में सहायक हो सकते हैं। साथ ही शोध में पाया गया कि जायफल के अर्क में एंटीडिप्रेसेंट गुण पाया जाता है, जो अवसाद को कम करने में मददगार हो सकता है।
दांत दर्द में फायदेमंद जायफल का उपयोग (Jaifal Benefits for Dental Pain in Hindi)
जायफल के तेल में भिगोयी हुई रूई के फाहे को दांतों में रखें। आपको दांत में दबाकर रखना है। इससे दांत के दर्द से आराम मिलता है।
जायफल का उपयोग दांतों के स्वास्थ्य के लिए भी किया जा सकता है। एनसीबीआई की वेबसाइट पर प्रकाशित एक शोध के अनुसार, जायफल में अर्क में मौजूद मैकलिग्नन (macelignan) नामक तत्व में एंटीकैरोजेनिक (दांतों को टूटने से बचाने वाला) प्रभाव पाया जाता है, जो दांतों को स्ट्रेप्टोकोकस म्यूटन्स (Streptococcus Mutans) नामक ओरल बैक्टीरिया से सुरक्षा प्रदान कर सकता है। इस आधार पर कहा जा सकता है कि मुंह का स्वास्थ्य बरकरार रखने के लिए जायफल का उपयोग लाभकारी हो सकता है।
पाचनतंत्र विकार में जायफल से लाभ (Jaiphal Powder Uses in Indigestion in Hindi)
- 500 मिग्रा जायफल के चूर्ण (Ground nutmeg) को शहद के साथ मिलाकर सेवन करने से जठराग्नि प्रदीप्त होती है।
- बराबर-बराबर भाग में जायफल, जौ, नागरमोथा और बेल के चूर्ण (1-3 ग्राम) को छाछ के साथ सेवन करने से जठराग्नि प्रदीप्त होती है, और ग्रहणी रोग में लाभ होता है।
वजन कम करने में फायदेमंद (beneficial in reducing weight in Hindi)
एक बड़ी आबादी मोटापे की समस्या से ग्रसित है। लगातार बाहर का खाना, तैलीय खाद्य पदार्थ, सही वक्त पर न खाना और व्यायाम न करना इसके कारण हो सकते हैं। ऐसे में शारीरिक गतिविधि और खाने-पीने का ध्यान रखना जरूरी है। वहीं, माटापे को नियंत्रित करने के लिए घरेलू नुस्खों को भी अपनाया जा सकता है, जिसमें जायफल भी शामिल है। दरअसल, जायफल में एंटीऑबेसिटी गुण पाए जाते हैं, जो मोटापे को नियंत्रित करने में मददगार हो सकते हैं।
पेट के रोग में जायफल के औषधीय गुण से फायदा (Uses of Jaiphal for Stomach Disease in Hindi)
- पेट की बीमारी में 1-2 जातिफलादि वटी का सुबह और शाम सेवन करें। इससे पेट की बीमारी में लाभ होता है। [Go to: Jaifal ke fayde]
- पेट दर्द की परेशानी में 1-2 बूंद जायफल तेल को बताशे में डालकर खिलाएं। इससे पेट दर्द से आराम मिलता है।
लकवा (पक्षाघात) में जायफल का औधषीय गुण फायदेमंद (Nutmeg Benefits for Paralysis in Hindi)
लकवे की बीमारी में भी जायफल का फायदा लिया जा सकता है। जायफल को मुंह में रखकर चूसने से लकवा रोग में लाभ होता है।
जायफल का प्रयोग कर गठिया का इलाज (Uses of Nutmeg for Arthritis in Hindi)
जायफल (jayfal) या जावित्री तेल को सरसों के तेल में मिलाकर जोड़ों के दर्द वाले स्थान पर लगाएं। इससे जकड़न, मोच, गठिया, लकवा में लाभ होता है।
कोलेस्ट्रॉल के लिए जायफल के फायदे (benefits of nutmeg for cholesterol in Hindi)
शरीर में कोलेस्ट्रॉल का बढ़ता स्तर कई समस्याओं का कारण बन सकता है, जैसे हार्ट अटैक और स्ट्रोक। ऐसे में जायफल का सेवन बढ़ते कोलेस्ट्रॉल को नियंत्रित करने में मदद कर सकता है। दरअसल, जायफल के अर्क में कोलेस्ट्रॉल को कम करने वाली गतिविधि पाई जाती है। वहीं, इसी शोध में जिक्र मिलता है कि जायफल का सप्लीमेंट ब्लड लिपिड में सुधार का काम कर सकता है, जिससे बढ़ते कोलेस्ट्रॉल की समस्या को नियंत्रित करने में मदद मिल सकती है। हालांकि, इसकी कार्यप्रणाली को लेकर अभी और अध्ययन की आवश्यकता है।
दस्त पर रोक लगाने के लिए जायफल का इस्तेमाल (Ground Nutmeg Benefits to Stop Diarrhea in Hindi)
- बराबर-बराबर भाग में जायफल और सोंठ (500 मिग्रा) लें। इसे जल में घिसकर सेवन करने से दस्त ठीक हो जाता है। इस दौरान स्वस्थ भोजन करना जरूरी है।
- दस्त पर रोक लगाने के लिए जायफल को घिसकर नाभि में लेप करें। इससे दस्त की गंभीर बीमारी भी तुरंत ठीक हो जाती है।
- दस्त को ठीक करने के लिए जायफल, लौंग, सफेद जीरा और सुहागा के 1 ग्राम चूर्ण में मधु और मिश्री मिलाकर सेवन करें। इससे दस्त की गंभीर बीमारी ठीक हो जाती है।
- इसी तरह 1-2 जातीफलादि वटी को सुबह और शाम छाछ के साथ सेवन करने से सभी तरह के दस्त ठीक हो जाते हैं।
- 500 मिग्रा जायफल (jayfal) चूर्ण में शहद मिलाकर खाने से पेट की गैस और दस्त की समस्या से आराम मिलता है।
- उल्टी और दस्त की बीमारी में 500 मिग्रा जायफल के चूर्ण में घी और खांड मिलाकर चाटें। इससे लाभ होता है।
जायफल के पौष्टिक तत्व – Nutmeg Nutritional Value in Hindi
जायफल में पाए जाने वाले पौष्टिक तत्व इस प्रकार हैं :
पोषक तत्व | मात्रा प्रति 100 ग्राम |
---|---|
पानी | 6.23 ग्राम |
कैलोरी | 525 kcal |
प्रोटीन | 5.84 ग्राम |
फैट | 36.31 ग्राम |
कार्बोहाइड्रेट | 49.29 ग्राम |
फाइबर | 20.8 ग्राम |
शुगर | 2.99 ग्राम |
कैल्शियम | 184 मिलीग्राम |
आयरन | 3.04 मिलीग्राम |
मैग्नीशियम | 183 मिलीग्राम |
फास्फोरस | 213 मिलीग्राम |
पोटेशियम | 350 मिलीग्राम |
सोडियम | 16 मिलीग्राम |
जिंक | 2.15 मिलीग्राम |
मैंगनीज | 2.9 मिलीग्राम |
कॉपर | 1.027 मिलीग्राम |
सेलेनियम | 1.6 माइक्रोग्राम |
विटामिन-सी | 3 मिलीग्राम |
थियामिन | 0.346 मिलीग्राम |
राइबोफ्लेविन | 0.057 मिलीग्राम |
नियासिन | 1.299 मिलीग्राम |
विटामिन-बी 6 | 0.16 मिलीग्राम |
फोलेट | 76 माइक्रोग्राम |
कोलीन | 8.8 मिलीग्राम |
विटामिन-ए, RAE | 5 माइक्रोग्राम |
बीटा कैरोटीन | 28 माइक्रोग्राम |
विटामिन-ए IU | 102 IU |
फैटी एसिड टोटल सैचुरेटेड | 25.94 ग्राम |
फैटी एसिड टोटल मोनोअनसैचुरेटेड | 3.22 ग्राम |
फैटी एसिड टोटल पॉलीअनसैचुरेटेड | 0.35 ग्राम |
जायफल के उपयोगी भाग (Useful Parts of Jaifal): जायफल (jaiphal) का इस्तेमाल इस तरह से किया जा सकता हैः-
- जायफल बीज (नटमेग)
- बीजचोल (मेस)
- तेल
जायफल का इस्तेमाल कैसे करें? (How to Consume Jaifal?)
जायफल का इस्तेमाल इतनी मात्रा में करनी चाहिएः-
- जायफल चूर्ण (Ground nutmeg) – 0.5-1 ग्राम
- तेल- 1-3 बूंद
जायफल का उपयोग – How to Use Nutmeg in Hindi
जायफल का उपयोग कई प्रकार से किया जा सकता है। नीचे हम जायफल के कुछ खास उपयोग आपको बता रहे हैं –
- जोड़ों में दर्द या सूजन की स्थिति में जायफल का तेल लगाया जा सकता है।
- खाने में मसाले के तौर पर जायफल का उपयोग कर सकते हैं।
- सिरदर्द और मुंह की दुर्गंध की परेशानी है, तो जायफल का उपयोग किया जा सकता है इसके लिए डॉक्टरी परामर्श पर जायफल का इस्तेमाल कर सकते हैं।
- अगर अनिद्रा की समस्या है, तो रात को सोने से कुछ देर पहले चुटकीभर जायफल पाउडर को शहद के साथ मिलाकर खा सकते हैं।
- मुंहासों की समस्या है, तो जायफल पाउडर और शहद को मिलाकर पेस्ट तैयार कर लें और इसे चेहरे पर लगाएं। फिर कुछ देर सूखने दें और बाद में साफ पानी से धो लें।
पुरुषों के लिए जायफल के फायदे- Nutmeg Health Benefits for men in Hindi
- जायफल पुरुषों में स्टेमिना को बढ़ाने में मददगार होता है : जायफल एक प्रकार की देसी वियाग्रा की तरह काम करता है। जायफल पर हुई कई रिसर्च में ये बात सामने आई है कि पुरुष नियमित तौर पर इसका सेवन करने से उनके स्टेमिना में बढ़ोतरी होती है। इतना ही नहीं जायफल पुरुषों की फर्टिलिटी बढ़ाने में भी मदद कर सकता है।
- जायफल पुरुषों में इरेक्शन की समस्या करे दूर करता है: जायफल के सेवन से शरीर में ब्लड सर्कुलेशन बेहतर होता है, जिससे पुरुषों में होने वाली इरेक्शन की परेशानी को कम किया जा सकता है। यह पुरुषों के शरीर में ब्लड सर्कुलेशन बेहतर करता है, जिससे इरेक्शन को कम करने में मदद मिल सकती है।
- जायफल पुरुषों में एफ्रोडिजिएक प्रभाव को बढ़ाता है : जायफल का सेवन करने से पुरुषों की शारीरिक क्षमता बेहतर होती है। यह उनकी सेक्सुअल एक्टिविटी को बेहतर कर सकता है। दरअसल, जायफल में एथेनॉल पाया जाता है, जिससे पुरुषों पर एफ्रोडिजिएक प्रभाव पड़ता है। ऐसे में उनकी सेक्सुअल एक्टिविटी बेहतर हो सकती है।
- जायफल पुरुषों में इरेक्टाइल डिसफंक्शन की समस्या को दूर करता है : पुरुषों में होने वाली इरेक्टाइल डिसफंक्शन की समस्या को दूर करने में जायफल प्रभावी होता है। रिसर्च के मुताबिक, जायफल में शक्तिशाली पॉलिफिनॉल्स गुण मौजूद होते हैं, जो एंटीऑक्सीडेंट गुणों से भरपूर होता है। इस गुण की वजह से जायफल के सेवन से पुरुषों में इरेक्टाइल डिसफंक्शन की परेशानी को कम करने में मदद मिल सकती है।
जायफल का चयन कैसे करें और लंबे समय तक सुरक्षित कैसे रखें?
जायफल का चुनाव और लंबे समय तक सुरक्षित रखने से जुड़ी जानकारी के लिए नीचे दी गईं बातों पर ध्यान दिया जा सकता है –
- बाजार में जायफल साबुत और पाउडर के रूप में उपलब्ध है। इनका चुनाव जरूरत अनुसार किया जा सकता है।
- चाहें, तो बाजार से साबुत जायफल खरीदकर घर में ही इसका पाउडर बना सकते हैं।
- इसे जनरल स्टोर या ऑनलाइन खरीदा जा सकता है।
- जायफल को किसी एयरटाइट कंटेनर में स्टोर करके लंबे समय तक सुरक्षित रखा जा सकता है।
- ध्यान रहे, जायफल या इसके पाउडर को किसी सूखी जगह पर ही रखें ताकि यह नमी से बचा रहे।
किसे जायफल का उपयोग नहीं करना चाहिए? (Who Should Not Use Jaifal?)
जायफल के नुकसान से बचने के लिए इन लोगों को जायफल का उपयोग नहीं करना चाहिएः-
- जायफल का प्रयोग गर्भावस्था में नहीं किया जाना चाहिए।
- जिन लोगों को एलर्जी की शिकायत रहती है, उन्हें चिकित्सक से सलाह लेकर जायफल का इस्तेमाल करना चाहिए, क्योंकि इससे त्वचा संबंधित विकार हो सकता है।
जायफल के साइड इफेक्ट (Jaiphal Side Effects in Hindi)
आयुर्वेद के अनुसार, जायफल के ये नुकसान भी हो सकता हैः-
- इसकी 5 ग्राम या उससे अधिक मात्रा का प्रयोग करने पर हिचकी, बहुत अधिक प्यास लगना, पेट दर्द, मानसिक विकार, व्याकुलता, बेहोशी, द्विरूपता (Double vision), लीवर से जुड़ी परेशानी हो सकती है।
- इससे मृत्यु भी हो सकती है।
- जायफल (jaiphal) के बीज का चूर्ण अत्यधिक कामोत्तेजक होता है, और अधिक मात्रा में इसका प्रयोग नुकसान पहुंचा सकता है
- जायफल की तासीर गर्म होती है, इसलिए गर्मियों में इसका अधिक मात्रा में सेवन नुकसानदायक हो सकता है। फिलहाल, इससे जुड़ा कोई सटीक शोध उपलब्ध नहीं है, लेकिन बेहतर है गर्मियों में इसका सेवन कम किया जाए।
- कई बार जायफल का सेवन अधिक मात्रा में करने से ठीक वैसा ही असर हो सकता है, जैसा किसी नशीले पदार्थ के सेवन से होता है। जायफल का सेवन जरूरत से ज्यादा किया जाए, तो मतिभ्रम, दिल की धड़कनें सामान्य से तेज होना, घबराहट, उल्टी व मतली जैसी परेशानियां हो सकती हैं ।
- शोध में भी इसे लंबे समय तक लेने की सलाह नहीं दी गई है। खासतौर से, गैस्ट्रिक की जलन की समस्या से जूझ रहे मरीजों को इससे दूरी बनाने के लिए कहा गया है, क्योंकि इसका सेवन गैस्ट्रिक की जलन (Gastric irritation) की समस्या को जटिल बना सकता है। अगर कोई व्यक्ति इसका सेवन कर भी रहा है, तो 2 हफ्ते से ज्यादा इसका सेवन न करें।
- इससे ड्राई माउथ की समस्या भी हो सकती है।
हम उम्मीद करते हैं कि इस लेख को पढ़ने के बाद अब आप अच्छी तरह जान गए होंगे कि जायफल खाने से क्या होता है। साथ ही, इसकी अधिक मात्रा किस प्रकार नुकसानदायक हो सकती है, इसकी भी जानकारी आपको हो गई होगी। वहीं, लेख में हमने जायफल के उपयोग संबंधी जानकारी भी आपको दे दी है। अब आप चाहें, तो जायफल के फायदे उठाने के लिए डॉक्टरी परामर्श पर इसे अपनी जीवनशैली का हिस्सा बना सकते हैं। हम आशा करते हैं कि यह लेख आपको पसंद आया होगा। आगे हम पाठकों के कुछ सवालों के जवाब दे रहे हैं।
जायफल रोज लिया जा सकता है?
प्रति दिन कितना जायफल सुरक्षित है? हालांकि इस बारे में कोई विशेष दिशा-निर्देश नहीं हैं कि आपको प्रतिदिन कितना जायफल खाना चाहिए, यह सलाह दी जाती है कि आपको एक दिन में 1 से 2 मिलीग्राम से अधिक नहीं लेना चाहिए। अध्ययनों से पता चलता है कि 5g और उससे अधिक मात्रा में लेने पर विषाक्त प्रतिक्रियाएँ होती हैं।
जायफल की तासीर गर्म होती है, इसलिए इसका सेवन शरीर में गर्मी देता है। आयुर्वेदाचार्य श्री ब्रह्मस्वरूप सिंह के अनुसार, जायफल के साथ ही इसके तेल का उपयोग कॉस्मेटिक्स और दवा की तरह किया जा सकता है। इससे पेट और त्वचा संबंधी बीमारियों को दूर किया जा सकता है।
क्या जायफल पुरुषों के लिए अच्छा है?
माना जाता है कि जायफल प्रो-इंफ्लेमेटरी एंजाइम को रोककर सूजन को कम करता है। प्राचीन अध्ययनों से पता चला है कि जायफल में पुरुषों में सेक्स ड्राइव को बढ़ावा देने के गुण होते हैं । पारंपरिक चिकित्सा में, जैसे कि यूनानी चिकित्सा पद्धति, जायफल का उपयोग यौन विकारों के इलाज के लिए किया जाता है।
जायफल कितनी मात्रा में लेना चाहिए?
सुबह-सुबह खाली पेट आधा चम्मच जायफल चाटने से गैस्ट्रिक, सर्दी-खांसी की समस्या नहीं सताती है। पेट में दर्द होने पर चार से पांच बूंद जायफल का तेल चीनी के साथ लेने से आराम मिलता है।
रात को जायफल खाने से क्या होता है?
यदि आप अनिद्रा की समस्या से जूझ रहे हैं तो जायफल आपको नींद न आने की समस्या से छुटकारा दिलाने में मदद कर सकता है. मैग्नीशियम की मात्रा अधिक होने के कारण जायफल तनाव को दूर करके दिमाग को शांत करता है और नींद लाने में मददगार साबित हो सकता है. जायफल सेरोटोनिनि को उत्तेजित करके शरीर को आराम पहुंचाता है.
जायफल क्या ठीक करता है?
जायफल में स्वास्थ्य लाभ पाया जाता है, जिसमें दर्द को दूर करने, अपच को शांत करने, संज्ञानात्मक कार्य को मजबूत करने, शरीर को डिटॉक्सिफाई करने, त्वचा के स्वास्थ्य को बढ़ावा देने, मौखिक स्थितियों को कम करने, अनिद्रा को कम करने, प्रतिरक्षा प्रणाली के कार्य को बढ़ाने और ल्यूकेमिया को रोकने और रक्त परिसंचरण में सुधार करने की क्षमता शामिल है।
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